रमझोल
रमझोल वाद्य यंत्र चमडे की एक पट्टी पर छोटे-छोटे घुंघरूओं को लगाकर बनाया जाने वाला एक वाद्य है।
- Read more about रमझोल
- Log in to post comments
- 2454 views
जूनियर डिप्लोमा (I Year) - गायन (शास्त्र पाठ्यक्रम )
१. निम्नलिखित सरल विषयों तथा पारिभाषिक शब्दों का साधारण प्रारंभिक ज्ञान -
भारत कि दो संगीत-पद्धतियाँ , ध्वनि ध्वनि कि उत्पत्ति , नाद, नाद-स्थान, श्रुति, स्वर, प्राकृत स्वर, अचल और चल स्वर, शुद्ध और विकृत-स्वर (कोमल व तीव्र), सप्तक (मंद्र , मध्य, तार ), थाट , राग, वर्ण (स्थायी, आरोही-अवरोही, संचारी), अलंकार (पलटा), राग जाती (औडव, षाडव , सम्पूर्ण) वादी, संवादी, अनुवादी, वर्हित स्वर, पकड़ आलाप तान, ख्याल, सरगम, स्थाई, अंतरा, लय (विलम्बित, मध्य, द्रुत), मात्रा, ताल विभाग, सम ताली, खली ठेका, आवर्तन, ठाह तथा दुगुन।
Zohrabai Agrewali
Zohrabai Agrewali (1868–1913) was one of the most noted and influential singers of Hindustani Classical Music from the early 1900s. Along with Gauhar Jan, she marks the dying phase of the courtesan singing tradition in Indian classical music. She is known for her macho style of singing.
• Early life and background:
She belonged to the Agra gharana (lit.Agrewali= fromAgra). She was trained by Ustad Sher Khan, Ustad Kallan Khan and the noted composer Mehboob Khan(Daras Piya).
- Read more about Zohrabai Agrewali
- Log in to post comments
- 102 views
दुर्लभ फोटो युवा लता जी ......
दुर्लभ फोटो युवा लता जी ......
- Read more about दुर्लभ फोटो युवा लता जी ......
- Log in to post comments
- 157 views
Rare Photo Young Lata ji......
Rare Photo Young Lata ji......
- Read more about Rare Photo Young Lata ji......
- Log in to post comments
- 157 views
राग परिचय
हिंदुस्तानी एवं कर्नाटक संगीत
हिन्दुस्तानी संगीत में इस्तेमाल किए गए उपकरणों में सितार, सरोद, सुरबहार, ईसराज, वीणा, तनपुरा, बन्सुरी, शहनाई, सारंगी, वायलिन, संतूर, पखवज और तबला शामिल हैं। आमतौर पर कर्नाटिक संगीत में इस्तेमाल किए जाने वाले उपकरणों में वीना, वीनू, गोत्वादम, हार्मोनियम, मृदंगम, कंजिर, घमत, नादाश्वरम और वायलिन शामिल हैं।