केरल
थेय्यन्नम
यह एक कर्मकाण्ड से ओतप्रोत कला है, जिसकी पुलाया और कुरावा समुदाय के लोगों द्वारा प्रस्तुति दी जाती है। थेय्यन्नम कला मावेलिकारा, पण्डालम् और अलाप्पुज्हा जिले के कुछ हिस्सों में देखने को मिलती है। जब व्यक्ति कृषि कार्य करता है तो उसकी पसंद और इस नई शुरूआत के प्रति आदर व उसे प्रोत्साहित करने के लिए यह कला होती है। वह विभिन्न फसलों की खेती करता है, तथापि धान की खेती के प्रति उसका खास रूझान होता है। जो कि थेय्यन्नम की विषय-वस्तु है।
- Read more about थेय्यन्नम
- Log in to post comments
- 6 views
थेक्कनम थेक्कथियम
यह पलक्कड़ और मालप्पुरम जिले में काफी लोकप्रिय है। पानर समुदाय के लोगों ने इसे इजाद किया है। उनका व्यवसाय ताड़ की पत्तियों से छातेनुमा वस्तु बनाना है। इस कला में दो चरित्र (एक पुरूष व एक महिला) और दो वाद्ययंत्र बजाने वालों की एक मण्डली होती है। इसमें पात्र गाकर संवाद करते हैं और खास तरह से हाथ-पैर चलाते हैं जिसके माध्यम से वे अपने नृत्य के सुपरिभाषित सोपानों को पूरा करते हैं।
- Read more about थेक्कनम थेक्कथियम
- Log in to post comments
- 6 views